रांची। रांची विश्वविद्यालय स्पोट्र्स कंट्रोल बोर्ड 2020-21 की बैठक शुक्रवार को मैनेजमेंट अकादमी हॉल मोरहाबादी में आयोजित हुई। बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया। बैठक को सम्बोधित करते हुए कुलपति डॉ. रमेश कुमार पांडे ने कहा कि खिलाड़ियों को सबसे पहले बेहतर सुविधा प्रदान करें जिससे विश्वविद्यालय का नाम रोशन हो सके। इसके लिए बजट होना चाहिए।
उन्होंने सदस्यों का स्वागत करते हुए कहा कि यह बैठक ऑनलाइन करना चाहिए था। अगर एग्जाम ऑनलाइन हो सकता है तो बैठक क्यों नहीं। सांस्कृतिक विभाग की बैठक संभवत 15 दिनों के अंदर ऑनलाइन ही आयोजित की जाएगी। रांची विश्वविद्यालय ने जेएससीए को एक प्रस्ताव भेजकर क्रिकेट ग्राउंड को मेंटन और टर्फ विकेट बनाने की बात भी रखी गई है जिसे जीएससीए ने स्वीकार कर लिया है इस पर जल्दी ही कुलपति और जेएससीए के बीच एएमयू होने की संभावना है। हालांकि लॉकडाउन के कारण यह मामला अभी तक अटका हुआ है। इसके अलावा स्पोट्र्स कंट्रोल बोर्ड का संबिधान को फिर से नये ढंग से बनाया जाए इसका भी निर्णय लिया गया। इसके अलावा 16 सदस्यीय स्टैंडिंग कमिटी का भी गठन भी किया गया।
यह कमेटी आपस में बैठकर इस वर्ष खेलकूद के सभी विषय पर विचार विमर्श करेगी। इस कमेटी में कुलपति चेयरमैन होंगे, जबकि प्रोविसी उप चेयरमैन, फाइनेंसियल एडवाइजर, रजिस्टर, फाइनेंस ऑफिसर, बॉटनी डिपार्टमेंट के हेड, ज्योग्राफी डिपार्टमेंट के हेड, प्रिंसिपल वीमेंस कॉलेज, प्रिंसिपल राम लखन सिंह यादव कॉलेज, प्रिंसिपल निर्मला कॉलेज, डीएसडब्ल्यू, शेखर बोस,अशोक सिंह, सतीश गुप्ता, राजेश गुप्ता को रखा गया है। बजट को लेकर भी चर्चा हुई। जिसमें कुलपति ने डीएसडब्ल्यू और फाइनेंसियल एडवाइजर को बैठकर फिर से संशोधित बजट तैयैर करने कहा गया है। बैठक मेंयह भी निर्णय लिया गया कि कुछ खेलों के प्रशिक्षकों के द्वारा खिलाड़ियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा।
जिसको रांची विश्वविद्यालय कुछ मानदेय देगी। चतुर्थवर्गीय कर्मचारी पूरन साव के 65 साल हो जाने के कारण उनको फिर से रिनुअल नहीं किया जा सकता है उनके जगह नई नियुक्ति की जाएगी। इसके लिए संयोजक राजेश गुप्ता को फाइल बढ़ाने को कहा गया है। कोविड-19 के कारण इस वर्ष चांसलर ट्राफी प्रतियोगिता आयोजित नहीं हुई।
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