गुवाहाटी, 19 अक्टूबर। भारत की उभरती बैडमिंटन स्टार तन्वी शर्मा का बीडब्ल्यूएफ विश्व जूनियर चैंपियनशिप 2025 में स्वर्ण पदक जीतने का सपना फाइनल मुकाबले में टूट गया। 16 वर्षीय तन्वी को महिला एकल फाइनल में थाईलैंड की अन्यापत फिचितप्रीचासक के खिलाफ सीधे गेम में 7-15, 12-15 से हार का सामना करना पड़ा।
17 वर्षों बाद भारत को विश्व जूनियर चैंपियनशिप में पदक
इस शानदार प्रदर्शन के साथ तन्वी ने रजत पदक जीतकर 17 वर्षों बाद भारत के लिए विश्व जूनियर चैंपियनशिप में पदक सुनिश्चित किया। इससे पहले भारत की साइना नेहवाल ने 2008 में स्वर्ण और 2006 में रजत, जबकि अपर्णा पोपट ने 1996 में रजत पदक जीता था।
फाइनल मुकाबला: अच्छी शुरुआत के बाद थाई खिलाड़ी का पलड़ा भारी
फाइनल की शुरुआत कड़ी टक्कर से हुई। दोनों खिलाड़ी 2-2 और 4-4 की बराबरी तक संघर्षरत रहीं। लेकिन थाई खिलाड़ी ने तन्वी की कुछ अनफोर्स्ड एरर का फायदा उठाकर 10-5 की बढ़त बना ली और पहला गेम अपने नाम किया।
दूसरे गेम में तन्वी ने शानदार वापसी की और 6-1 की बढ़त हासिल की। हालांकि, फिचितप्रीचासक ने संयम से खेलते हुए स्कोर 8-8 से बराबर कर लिया और आखिरकार 15-12 से दूसरा गेम भी जीतकर खिताब अपने नाम किया।
भारत की नई उम्मीद बनीं तन्वी शर्मा
तन्वी शर्मा साइना और अपर्णा के बाद विश्व जूनियर चैंपियनशिप के फाइनल में पहुंचने वाली केवल तीसरी भारतीय महिला शटलर बनीं। उनके इस प्रदर्शन ने भारतीय जूनियर बैडमिंटन में नई उम्मीदें जगा दी हैं।