Home Slider ओलंपिक मेडलिस्ट पैदा करने के उद्देश्य से बोकारो में खुला भाटिया एथलेटिक्स एकेडमी, जानें उसके बारे में

ओलंपिक मेडलिस्ट पैदा करने के उद्देश्य से बोकारो में खुला भाटिया एथलेटिक्स एकेडमी, जानें उसके बारे में

by Khel Dhaba
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बोकारो। एथलेटिक्स स्पर्धा को अपने जिंदगी का हिस्सा बनाने वाले खिलाड़ियों को बेहतर ट्रेनिंग देने और नेशनल ही नहीं इंटरनेशनल लेवल पर पदक जिताने के इरादे से झारखंड के शहर बोकारो में एक एथलेटिक्स एकेडमी की स्थापना चंद दिन पहले की गई है। इस एकेडमी का नाम है भाटिया एथलेटिक्स एकेडमी। कोच हैं नेशनल मेडलिस्ट आशु भाटिया। साथ में नेशनल पदकधारी विपिन त्रिवेदी भी उनके साथ हैं।

आशु भाटिया नेशनल एथलेटिक्स प्रतियोगिताओं की सौ मीटर स्पर्धा में मेडल जीते हैं। वे पहले सेना में थे। उन्होंने सर्विसेज टीम का भी प्रतिनिधित्व किया है।

19 अप्रैल, 2021 को खुली इस एथलेटिक्स एकेडमी में सुबह और शाम अभ्यास कराये जाते हैं। एकेडमी का अपना हॉस्टल है। ब्वॉयज और गर्ल्स हॉस्टल अलग-अलग। दोनों हॉस्टल वाई-फाई युक्त है। जिम की सुविधा उपलब्ध है। खिलाड़ियों का प्रैक्टिस डीबीसी ग्राउंड, सीसीएल ग्राउंड पर होता है। एकेडमी में आवासीय और गैर आवासीय ट्रेनिंग की सुविधा उपलब्ध है।

वर्तमान समय में इस एकेडमी कई मेडलिस्ट प्रशिक्षण ले रहे हैं जिसमें फ्लोरेंस बारला, दीपक टोप्पनो, आशा किरण, अनीसा कुमारी शामिल है। फ्लोरेंस बारला टीम की कैप्टन हैं। फ्लोरेंस बारला ने ओड़िशा में आयोजित  वर्ल्ड यूनिवर्सिटी ट्रायल प्रतियोगिता (World University Trial Competition) में गोल्ड मेडल जीता है। इससे पहले भी फलोरेंस ने कजिस्तान में आयोजित यूरो एशिया कप में दो गोल्ड मेडल जीती थीं। फ्लोरेंस 400 मीटर स्पर्धा में हिस्सा लेती हैं। इसके अलावा उन्होंने कई और पदक अपनी झोली में डाल रखे हैं।

इस एकेडमी में आर्मी, पुलिस समेत अन्य नियुक्तियों में फिजिकल टेस्ट की तैयारी करायी जाती है।

एकेडमी के कोच आशु भाटिया कहते हैं कि आज की तारीख में बेहतर ट्रेनिंग सेंटर का अभाव है। हमारे एकेडमी का मकसद है ओलंपियन पैदा करना। साथ ही यहां अभ्यास करने वालों को बेहतर इंसान बनाना। वे कहते हैं कि ट्रेनिंग तो बहुत जगहों पर दी जाती है पर सिस्टम के अनुसार ट्रेनिंग बहुत कम जगहों पर मिलती है।

हमारा प्रयास है कि प्रशिक्षुओं को आधुनिक ट्रेनिंग दी जाती है। ट्रेनिंग के अनुसार उनके डॉयट पर ध्यान दिया जाए। उन्हें मोटिवेशनल प्रोग्राम के जरिए हमेशा आगे बढ़ने की प्रेरणा दी जाए। उनकी पढ़ाई की उचित व्यवस्था हो। इन सारी चीजों का इस एकेडमी में पूरा ख्याल रखा जा रहा है।

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