24 C
Patna
Sunday, December 22, 2024

मांगों पर ठोस कार्यवाही नहीं होती है तो खेल सम्मान का बहिष्कार करेगा बिहार प्लेयर्स एसोसिएशन : मृत्युंजय

पटना। बिहार प्लेयर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष मृत्युंजय तिवारी का आमरण अनशन लगातार दूसरे दिन भी जारी है। राज्य की खराब खेल व्यवस्था को सुधारने सहित अन्य कई मांगों को लेकर आमरण अनशन पर बैठे मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि अगर सरकार की ओर से मांगों पर कोई ठोस कार्यवाही नहीं होती है तो खेल सम्मान समारोह का खिलाड़ियों द्वारा बहिष्कार किया जायेगा।

उन्होंने कहा कि खेल सम्मान समारोह के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति नहीं चलेगी। जब खिलाड़ियों को रोजगार और संसाधन ही मुहैया नहीं होंगे तो यह सम्मान किस बात का।

उन्होंने कहा कि खेल सम्मान समारोह में जो घोषणाएं सरकार करती है उसपर कोई कारवाई ही नहीं होती सिर्फ खानापूर्ति के लिए यह सम्मान समारोह किया जाता है। आज सुबह तिवारी का हालचाल जानने बिहार राज्य खेल प्राधिकरण के निदेशक सचिव आशीष सिन्हा अनशन स्थल पर पहुंचे थे।

तिवारी ने कहा कि हम नहीं चाहते कि बिहार के खिलाड़ी सड़कों पर रहें। उन्होंने कहा कि बिहार की खेल व्यवस्था जिस तरह से चरमराई हुई है उससे यही लगता है कि खेल व खिलाड़ियों का विकास यहां असंभव है। इसलिए मजबूरन खिलाड़ियों को सड़कों पर आकर आंदोलन करने के लिए बाध्य होना पड़ता है। बिहार प्लेयर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष ने कहा कि खेल के नाम पर जितने वादे व जितने दावे किए जाते हैं वह सिर्फ हवा हवाई और खोखले साबित होते हैं इसलिए खेल से खिलवाड़ का ही परिणाम है कि आज पटना राजधानी में खेल मैदानों की संख्या घटती गइर्। अस्पतालों की संख्या बढ़ती चली गई इसका मतलब है कि यह राज्य और पटना राजधानी बीमारू बनता जा रहा है।

उन्होंने कहा कि 29 अगस्त खेल दिवस के दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने फिट इंडिया अभियान की शुरुआत करने वाले हैं, लेकिन बिहार जैसे बड़े राज्य में जिस तरह से युवाओं के प्रति सरकार का उदासीन रवैया है और खेल के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर नहीं उपलब्ध हो पा रहे हैं कोई सहायता नहीं मिल रहा है ना कॉरपोरेट सेक्टर में खिलाड़ियों की नियुक्ति हो पा रही है ना अन्य।

उन्होंने कहा कि ऐसे में फिर भूखे पेट युवा फिट कैसे रहेंगे। जब उनको खेल मैदान ही नहीं मिलेंगे अभ्यास के लिए तो फिर बिहार जैसा राज्य कैसे फिट रह सकता है। इसलिए भारत सरकार और बिहार सरकार इस ओर ध्यान दें।

उन्होंने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि 29 अगस्त को खेल सम्मान समारोह के दिन से बिहार में सभी जगह पर विशेषकर राजधानी में भी खेल मैदानों की संख्या बढ़ाने की योजना पर विचार करें और युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा करने की कोशिश करें। खेल के प्रति सरकार का उदासीन रवैया समाप्त हो तभी माननीय प्रधानमंत्री जी का भी सपना बिहार में पूरा हो पाएगा।

Related Articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisement -spot_img

Latest Articles

error: Content is protected !!
Verified by MonsterInsights